पत्रकारिता करना भी पड़ रहा है भारी,
पत्रकारिता करना भी पड़ रहा है भारी,
चंदवक, जानकारी के अनुसार अभी कुछ दिन पहले केराकत तहसील के चार पत्रकारों द्वारा गौशाला में मरी गायों का समाचार क्या निकाला जैसे बहुत बड़ा अपराध कर दिया हो, प्रशासन व प्रधान की मिलीभगत से उन लोगों के ऊपर मुकदमे लाद दिए गए, यह प्रकरण धीरे-धीरे तूल पकड़ता जा रहा है, की केराकत तहसील के ही चंदवक थाना क्षेत्र के एक यूट्यूबर बंदे भारत ने शौचालय का समाचार चला दिया, समाचार देख दो और पोर्टल चैनल वाले, न्यू इंडिया व के,एफ,डी के पत्रकारों ने शौचालय का वीडियो बनाकर जब वर्जन के लिए खंड विकास अधिकारी के पास गए तो वर्जन की जगह उन्होंने अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए ऑफिस से बाहर निकाल दिया, जिसका समाचार भी चला, जिससे नाराज ग्राम प्रधान ने इन पत्रकारों से अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए यहां तक चैलेंज कर दिया कि अब चलो हमारे गांव में समाचार निकालो तब बताते हैं, इन तीनों में एक पत्रकार अनुसूचित जाति का है, उसने अपने खिलाफ अपशब्द भाषा व धमकी की शिकायत लिखित तहरीर के रूप में थाना अध्यक्ष की सेवा में प्रेषित कर दिया है, यह मामला भी धीरे-धीरे केराकत के पत्रकारों की तरह ही आगे बढ़ता हुआ नजर आ रहा है, ऐसी स्थिति में, और पत्रकार यह सोचने पर मजबूर हैं, कि आखिर समाचार संकलन कैसे किया जाए, जब प्रकाशन के बाद ऐसी स्थितियां उत्पन्न हो रही है, क्या ऐसी स्थिति का उत्पन्न होना राज्य सरकार,व ,सूचना विभाग की विफलता नहीं लगती, अगर इन कलम के सिपाहियों के साथ ऐसा ही होता रहा, तो आने वाला समय राज्य सरकार के मुखिया माननीय योगी जी के लिए काटो भरा साबित हो सकता है,